HTM farmes का उपयोग ब्राउज़र window को multiple section में devide करने के लिए किया जाता हैं जिन section में HTML के अलग अलग पेज (HTML document) को रन (load) किया जा सकता हैं ।
साधारण हिंदी भाषा में समझे तो जब हमें एक पेज को कई सरे section में devide करके अलग अलग HTML पेज को रन करना होता हैं तब हम HTML frame का उपयोग करते हैं । HTML फ्रेम्स (frame) को आप उदाहरण से समझ जायेंगे ।
एक ब्राउज़र window में जितने भी farmes उपयोग करते हैं उन सब का कलेक्शन (collection ) faremeset कहलाता हैं ।
frames | Frameset| HTML in Hindi
उपर लिखी बातो से आप समझ गए ही होंगे की फ्रेम्स ब्राउज़र window को कई section में devide करते हैं और उनमे हम HTML के अन्य पेज को लोड कर सकते हैं मतलब एक ही पेज पर अन्य पेज को लोड करना HTML फ्रेम्स के द्वारा होता हैं । फ्रेम्स (franes) को बनाने के लिए <फ्रामेसेट (frameset) > टैग का भी उपयोग होता हैं ।
बहुत सारे frames का उपयोग करने के लिए< frameset> टैग का उपयोग <body> टैग की जगह करते हैं । इसमें HTML <body> टैग को हटा कर HTML <frameset> टैग का उपयोग किया जाता हैं ।
जब हम HTML में टेबल बनाते हैं तब हम उसमे rows और columns को भी बनाते हैं । Frameset में भी हम rows ओर columns बनाते हैं ।
rows और cols HTML <frameset> टैग के attribute होते हैं ।
rows के द्वारा horizontal फ्रेम्स (frames) को तथा cols attribute के द्वारा वर्टीकल फ्रेम्स (verticle frames) को डिफाइन किया जाता हैं ।
चलिए उदाहरण से समझते हैं ।
Verticle frames को क्रिएट (Create) करना –
<!DOCTYPE html>
<html>
<head>
<title> HTML Verticle frames </title>
</head>
<frameset cols="25%,50%,25%">
<frame name="left" src="https://technosmarter.com/html-in-hindi/strong-tag">
<frame name="center" src="https://technosmarter.com/html-in-hindi/br-tag">
<frame name="right" src="https://technosmarter.com/html-in-hindi/form">
<frameset>
</html>
उपर दिए गए उदाहरण में हमने frameset के साथ cols attribute को लिया हैं ओर फ्रेम्स (frames) में HTML के अलग अलग डॉक्यूमेंट पेज (HTML page s) लिए हैं जिस से verticle फ्रेम्स क्रिएट हुए हैं ।
Horizontal frames को क्रिएट करना –
<!DOCTYPE html>
<html>
<head>
<title> HTML Horizontal frames </title>
</head>
<frameset rows="20%,60%,20%">
<frame name="top" src="https://technosmarter.com/html-in-hindi/tel-tag">
<frame name="main" src="https://technosmarter.com/html-in-hindi/download">
<frame name="bottom" src="https://technosmarter.com/html-in-hindi/email-tag">
<noframes>
</html>
उपर दिए गए उदाहरण में हमने rows attribute का उपयोग किया जिस से वहां पर होरिज़ोनत farmes क्रिएट हुए अब यहाँ पर हम rows attributes का उपयोग करेंगे जिस से horizontal फ्रेम्स बन जायेंगे ।
इस तरह से एक ही ब्राउज़र window में एक से ज्यादा हटमल पेज को लोड किया जा सकता हैं ।
Disadvantage of frames in HTML | HTML में frames की हानि (अलाभ , नुकसान )
- कुछ ब्राउज़र फ्रेम्स को सपोर्ट नहीं करते हैं । इसलिए frame को यदि आप वेबसाइट में उपयोग करते हैं तो कुछ ब्राउज़र सपोर्ट नही करते हैं ।
- ब्राउज़र का बेक बटन अच्छे से काम नही करता हैं ।
- हर एक यूजर के पास अलग अलग साइज़ के कंप्यूटर होते हैं कभी कभी frame अलग अलग कंप्यूटर में लोड होने में समस्या आ सकती हैं या साइज़ में समस्या आ सकती हैं म
- SEO के लिए frames अनुकूल नही होते हैं ।
- कुछ small device में frames के लोड होने में समस्या आ सकती हैं ।
फ्रेम्स का उपयोग बहुत कम किया जाता हैं क्युकी इसकी जरूर इतनी ख़ास नही होती हैं और यदि आपको जरूरत पड़ती हैं तो आप HTML फ्रेम्स का उपयोग कर सकते हैं ।
frameset के कुछ attributes–
cols- verticle फ्रेम्स को बनाने के लिए
cols की वैल्यू को pixel या परसेंटेज में दी जा सकती हैं जैसे –
cols="100, 500,100"
cols="10%, 80%,10%".
rows – horizontal फ्रेम्स को बनाने के लिए
की वैल्यू को pixel या परसेंटेज में दी जा सकती हैं जैसे –
rows="100, 500,100"
rows="10%, 80%,10%".
border – frame के बॉर्डर की विध सेट करने के लिए .
border=”2”
frameborder - frameborder=”2”
framespacing – frames के बिच स्पेस को सेट करने के लिए ।
framespacing=”8 “
इसी तरह से <frame> टैग के भी कुछ attribute होते हैं ।
<frame> tag के कुछ अन्य attributes
frameborder – frame के बॉर्डर को सेट करने के लिए
frameborder=”4”
marginwidth- इस attribute के दुआर लेफ्ट ओर right फ्रेम्स के बॉर्डर के बिच स्पेस दिया जाता हैं ।
इसमें भी वैल्यू pixel में ही होती हैं ।
marginwidth=”4”
marginheight- top ओर boतटों frame के border के बिक स्पेस देना ।
marginheight=”7”
noresize- frame को यूजर के दुआर resize होने से रोकना ।
noresize=” noresize”
frame को क्लिक करके या ड्रैग करके resize किया जा सकता हैं पर आप noresize के दुआर resize होने से रोक सकते हैं ।
Scrolling- scrollbar को frame पर डिस्प्ले और hide करके रखना ।
scrolling="no" - कोई scrollbar नहीं
scrolling="yes” - scrollbar display हो ।
इस तरह से फ्रामेसेट ओर frame के attribute का उपयोग किया जा सकता हैं ।
Recommended Posts:-